Breaking News
उत्तराखंड में बारिश जंगलों की आग के लिए हुई वरदान साबित
महाराज ने देखी श्रीदेव सुमन पर आधारित गढवाली फिल्म कहा- प्रेरणादायक है यह फिल्म
गृह मंत्री अमित शाह ने गठबंधन पर साधा निशाना, बताया झूठ की फैक्टरी
टमाटर का ऐसे करें उपयोग चेहरे पर आएगा इंस्टेंट ग्लो, दाग धब्बों से भी मिलेगा छुटकारा
जिला सहकारी बैंकों का लाभ 180 करोड़ रुपये से बढ़कर 232 करोड़ रुपये किया
निखिल सिद्धार्थ ने किया कार्तिकेय 3 का एलान, दर्शकों को मिलेगा रोमांच का फुल डोज
अयोध्या आने वाली हर फ्लाइट की बुकिंग हुई सस्ती, जानिए कितने रुपए की मिली छूट 
उत्तराखण्ड के रिमोट क्षेत्रों में छोटे एलपीजी सिलेंडर की उपलब्धता बढ़ाएं- राज्यपाल
मुख्यमंत्री ने वन प्रशिक्षण अकादमी में वनाग्नि रोकने के प्रयासों की समीक्षा की

ब्रश करते समय कहीं आपके दांतों से भी तो नहीं आ रहा खून खतरनाक बीमारी के हैं लक्षण

ब्रश करते समय अगर दांतों में दर्द महसूस हो या खून आए या फिर किसी तरह की सूजन है तो इग्नोर करने की बजाय तुरंत अलर्ट हो जाएं। डेंटिस्ट के पास जाकर सलाह लें क्योंकि ये किसी बीमारी के शुरुआती लक्षण भी हो सकते हैं। दरअसल, ब्रश या कुल्ला करके हम सिर्फ दांतों को ही इंफेक्शन से नहीं बल्कि ओवरऑल हेल्थ को बचाने का काम करते हैं। लेकिन अगर एक हफ्ते तक दांतों या मंसूड़ों में खून आने, सूजन या दर्द की समस्याएं हो तो बिने देर किए डेंटिस्ट के पास जाना चाहिए।

दांतों या मंसूड़ों से खून क्यों आता है
एक्सपर्ट्स के मुताबिक, मसूड़ों से खून निकलने की एक नहीं कई वजहें हो सकती हैं. अमेरिकन डेंटल एसोसिएशन के मुताबिक, कई बार मसूड़ों में सूजन के कारण भी ब्रश करते समय खून आने लगता है। ये मसूड़ों में बीमारी के शुरुआती लक्षण हैं. मसूड़ों की बीमारी को पेरियोडोंटल डिजीज भी कहते हैं। इस बीमारी में दांतों के चारों ओर मसूड़ों और हड्डियों में संक्रमण हो जाता है। जिससे चारों तरफ प्लक(क्कद्यड्डह्नह्वद्ग) बनने लगते हैं. इस बीमारी में दांतों से खून भी आता है।

दांतों से खून आने की समस्या कब खतरनाक
महिलाओं में इस बीमारी के लक्षण प्यूबर्टी, प्रेगनेंसी, मेनोपॉज या मेंस्ट्रुअल साइकिल के दौरान देखने को मिलते हैं. उनमें ऐसा हार्मोनल बदलाव के कारण होता है।

हार्मोन मसूड़ों के पास जमा
बैक्टीरिया और प्लक के प्रति ज्यादा सेंसेटिव होते हैं. इसके अलावा स्मोकिंग, जेनेटिक, डायबिटीज जैसी बीमारी में इसका खतरा बढ़ सकता है. किसी तरह का एस्ट्रॉयड मेडिसीन या ओरल कॉन्ट्रासेप्टिव्स ले रहे हैं या फिर कैंसर या ड्रग थेरेपी चल रही है तो दिक्कतें बढ़ सकती हैं।

इस तरह करें बचाव
दिन में कम से कम दो से तीन बार ब्रश जरूर करें।

डाइट को संतुलित रखें
डेंटिस्ट के पास जाकर नियमित तौर पर जांच करवाएं।
स्मोकिंग और च्वींगम से बचें।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back To Top